In Vitro Fertilization (IVF): आजकल की भाग-दौड़ भरी दुनिया में सभी का जीवन स्ट्रेस, तनाव और परेशानियों से भरा पड़ा है ! आजकल ना केवल सभी अपनी-अपनी निजी समस्याओ से झूझ रहे है बल्कि ऐसे मुश्किल समय में लोगो का साथ, सहयोग और सद्भाव भी आपस में कम होता जा रहा है !
इस तनाव भरे जीवन के साथ-साथ आज खाने को मिलने वाला एक निवाला भी पोषण और गुणवत्ता के मामले में मिलावट, अशुद्दी और बेईमानी की भेट चढ़ गया है ! जिसकी वजह से लोगो को मानसिक तनाव और कमजोरी के साथ साथ शारीरिक कमजोरी का भी सामना करना पड रहा है !
इस मानसिक और शारीरिक कमजोरी की वजह से आजकल लोगो को निसन्तानता या बांझपन (infertility) जैसी अनेक परेशानियों से सामना करना पड़ता है ! आज ट्रेन्ड्स आजकल के इस लेख के माध्यम से हम बाँझपन जैसी आम समस्या और इसके रामबाण इलाज In Vitro Fertilization (IVF) के बारे में विस्तार से समझेंगे –
- 1 निसन्तानता या बांझपन (infertility) क्या है?
- 2 In Vitro Fertilization (IVF) kya hota hai
- 3 आईवीएफ फर्टिलिटी क्या है? (What is IVF Fertility)
- 4 In vitro fertilization process (IVF Process)
- 5 IVF pregnancy risks in hindi
- 6 आईवीएफ कब करवाना चाहिए? (When to go for IVF Treatment)
- 7 आईवीएफ में कितना खर्च आता है? (IVF Treatment Cost)
- 8 सबसे अच्छा आईवीएफ सेंटर कौन सा है? (Best IVF Center in India)
- 9 आईवीएफ का सक्सेस रेट क्या है? (IVF Success Rate)
- 10 पहली कोशिश में आईवीएफ की सफलता दर कितनी है?
- 11 आईवीएफ पहली बार फेल क्यों होता है?
- 12 क्या आईवीएफ से पैदा हुए बच्चे स्वस्थ होते हैं?
- 13 Complete Detail Video in IVF
निसन्तानता या बांझपन (infertility) क्या है?
वैसे तो नार्मल प्रेगनेंसी में पुरुष के शुक्राणु (Sperm) और महिला का अंडा (Egg) आपस में मिलकर और गर्भाशय (Uterus) की दीवार के साथ चिपक कर भ्रूण (Fetus) का निर्माण करते है, जिसे ही हम प्रेगनेंसी अथवा महिला का गर्भवती होना कहते है ! लेकिन जब कभी इस नार्मल प्रोसेस में गड़बड़ पैदा होती है या किसी कारणवश भ्रूण (Fetus) या बच्चे का निर्माण नहीं हो पता है तो उसे हम निसन्तानता या बांझपन (infertility) कहते है !
In Vitro Fertilization (IVF) kya hota hai
जो भी दंपति बांझपन या इनफर्टिलिटी का सामना कर रहे होते हैं और जब उनके सामने आईवीएफ का नाम पहली बार सामने आता है तो वह सबसे पहले यही जानने का प्रयास करते हैं कि आखिर यह इन विट्रो फर्टिलाइजेशन क्या होता है (in vitro fertilization kya hota hai) या आईवीएफ इन विट्रो फर्टिलाइजेशन से आप क्या समझते हैं?, आईए समझते है-
जब किसी दंपति के निसन्तानता या बांझपन (infertility) की समस्या आती है तब महिला के अंडाशय से अंडे बाहर निकाले जाते हैं, जिन्हें पुरुष के शुक्राणु के साथ रखकर टेस्ट ट्यूब में ही भ्रूण (Fetus) का निर्माण किया जाता है तो उसे ही इन विट्रो फर्टिलाइजेशन (In Vitro Fertilization (IVF) यानी आईवीएफ कहते हैं !
आसान शब्दों में कहे तो महिला के अंडे और पुरुष के स्पर्म को मिलाकर भ्रूण को माँ के गर्भ में विकसित करने के बजाय लैबोरेट्री या टेस्ट ट्यूब में विकसित करने की प्रक्रिया को ही आईवीएफ (In Vitro Fertilization (IVF) कहते हैं ! भ्रूण (Fetus) के निर्माण के कुछ दिनों बाद इसकी ग्रेडिंग करने के साथ ही महिला के शरीर में प्रत्यारोपित कर दिया जाता है जहां वह नॉर्मल गर्भ की तरह बना रहता है !
आईवीएफ फर्टिलिटी क्या है? (What is IVF Fertility)
निसंतान दंपत्ति जो बांझपन (infertility) का शिकार है उनके लिए आईवीएफ (In Vitro Fertilization (IVF) एक प्रचलित फर्टिलिटी ट्रीटमेंट है, जिसमें मां के शरीर से अंडे और पुरुष के शरीर से शुक्राणु लेकर बाहर ही लेबोरेटरी में फर्टिलाइजेशन की प्रक्रिया के बाद भ्रूण का निर्माण किया जाता है ! दरअसल आईवीएफ (IVF) फर्टिलिटी नि:संतान दम्पत्तियो के लिए किसी वरदान से कम नहीं है !
In vitro fertilization process (IVF Process)
IVF process: नॉर्मल तरीके से माँ के कंसीव नहीं करने की वजह से आईवीएफ का चुनाव किया जाता है, जिसमें माँ के शरीर से अंडे को बाहर निकाल कर लेबोरेटरी या टेस्ट ट्यूब में पिता के शुक्राणु अथवा स्पर्म के साथ फर्टिलाइजेशन की प्रक्रिया की जाती है ! एक बार फर्टिलाइजेशन (IVF) की प्रक्रिया हो जाने के बाद कई भ्रूण (Fetus) का निर्माण होता है !
कई भ्रूण (Fetus) के बन जाने के साथ ही इनकी लेबोरेटरी में इसकी ग्रेडिंग की जाती है जिसमे से सिर्फ टॉप क्लास भ्रूण (Fetus) को माँ के शरीर में वापस गर्भाशय में प्रत्यारोपित कर दिया जाता है ! प्रत्यारोपण की प्रक्रिया के बाद कुछ समय तक माँ को एक्सटर्नल हार्मोनल थेरेपी दी जाती है ताकि भ्रूण का गर्भाशय से अटैचमेंट सही तरीके से हो जाए और माँ का शरीर प्रेगनेंसी के लिए अनुकूल बन जाए !
IVF pregnancy risks in hindi
IVF pregnancy risks: आईवीएफ कराने से नि:संतान दम्पत्तियो को निम्न समस्याओ का सामना करना पड सकता है-
- प्रीमेच्योर डिलीवरी
- मल्टीपल बर्थ
- मिसकैरेज
- एक्टोपिक प्रेग्नेंसी
- ओवरियन हाइपरस्टिम्यूलेशन सिंड्रोम
नोट: ivf pregnancy risks की अधिक जानकारी के लिए आप यह लेख पढ़ सकते है !
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आईवीएफ कब करवाना चाहिए? (When to go for IVF Treatment)
निम्न कंडीशन की दशा में आईवीएफ (IVF) करवाने के बारे में सोच सकते हैं –
- यदि आप भी नेचुरल तरीके से 1 साल तक प्रयास करने के बावजूद भी संतान का सुख प्राप्त नहीं कर पा रहे हैं तो
- क्योकि 1 साल तक प्रेगनेंसी कंसीव नहीं करना मेडिकल साइंस में सामान्य माना गया है !
- यदि आप पूर्ण हार्मोनल ट्रीटमेंट ले चुके है तो
- यदि आप की सेक्स लाइफ और मेडिकल रिपोर्ट्स नेचुरल या सामान्य है तो
- यदि आपको १ साल से अधिक डॉक्टर के उपचार का लाभ नहीं मिल पा रहा है तो
- यदि आप नैचुरली इंटरकोर्स करने में असमर्थ है तो
आईवीएफ में कितना खर्च आता है? (IVF Treatment Cost)
नि:संतान दंपत्ति आईवीएफ का नाम सुनकर ही घबरा जाते हैं और वे इंटरनेट पर आईवीएफ में कितना खर्च आता है, सरकारी अस्पताल में आईवीएफ का खर्चा कितना है, फ्री में आईवीएफ कहाँ होता है, क्या आयुष्मान कार्ड से आईवीएफ हो सकता है और भारत के किस राज्य में आईवीएफ ट्रीटमेंट फ्री है आदि आदि आदि सर्च करने लगते हैं !
लेकिन यदि आप भी आईवीएफ कराने के बारे में विचार रखते हैं तो आपको घबराने की कोई आवश्यकता नहीं है ! एक समय आईवीएफ को जटिल और बेहद खर्चीली प्रक्रिया माना जाता था लेकिन आज के समय में आईवीएफ को करने के तरीके में बदलाव भी आया है साथ ही साथ आईवीएफ जैसा इलाज भी कम दाम पर आसानी से होने लगा है !
सरकारी अस्पताल में आईवीएफ का खर्चा कितना है?
वैसे तो आईवीएफ की औसतन लागत ₹50000 से लेकर ₹100000 तक होती है लेकिन सरकारी अस्पताल में आईवीएफ की लागत राशि का खर्चा 50% से भी काम में हो जाता है !
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क्या आयुष्मान कार्ड से आईवीएफ हो सकता है?
जी हां, आयुष्मान कार्ड से भी आईवीएफ (IVF) का इलाज फ्री में हो सकता है लेकिन उसके लिए पति-पत्नी के ही स्पर्म और एक का उपयोग भ्रूण के विकास या निर्माण के लिए किया जाना आवश्यक है ! साधारण भाषा में पति-पत्नी या या विवाहित युगल में से पति के स्पर्म और पत्नी के अंडे से ही भ्रूण का निर्माण किया जाए तो आयुष्मान कार्ड से आईवीएफ का इलाज फ्री है !
भारत में किस राज्य में आईवीएफ ट्रीटमेंट फ्री है? (Free IVF Treatment State)
निसन्तानता या बांझपन (infertility) जैसी विकराल समस्या से लड़ने के लिए भारत के छोटे से गोवा राज्य ने दिनांक 14 अगस्त 2023 को मुफ्त में ही आईवीएफ (In Vitro Fertilization (IVF) उपचार की पेशकश करने वाला पहला राज्य बन गया है !
फ्री में आईवीएफ कहां होता है? (Free IVF Treatment)
भारत में सिर्फ चुनिन्दा जगहों पर ही आईवीएफ (In Vitro Fertilization (IVF) का फ्री में इलाज़ किया जाता है, जो निम्नानुसार है –
- ऑल इंडिया इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज (AIIMS) – दिल्ली
- सफदरजंग अस्पताल (Delhi Safdarjung Hospital) – दिल्ली
- लोक नायक जयप्रकाश अस्पताल (LNJP) – दिल्ली
- Jain Fertility & Mother Care Hospital – जयपुर
- सरकारी रविन्द्रनाथ मेडिकल कॉलेज – उदयपुर
नोट: फ्री में आईवीएफ कहां होता है? की अधिक जानकारी के लिए आप यह लेख पढ़ सकते है !
सबसे अच्छा आईवीएफ सेंटर कौन सा है? (Best IVF Center in India)
अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (AIIMS) हमारे देश की सबसे बेहतरीन चिकित्सा संस्थानों में से टॉप पर है ! AIIMS की सुविधा बीच से अधिक शहरों में उपलब्ध है जहां पर आईवीएफ (IVF) का विश्व स्तरीय ट्रीटमेंट किया जाता है !
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आईवीएफ का सक्सेस रेट क्या है? (IVF Success Rate)
वैसे तो नेचुरल तरीके से गर्भधारण की संभावनाएं या सक्सेस रेट भी कम होती है लेकिन आईवीएफ (In Vitro Fertilization (IVF) जैसे मामले में यह आंकड़ा थोड़ा और काम हो जाता है ! दरअसल आईवीएफ में सक्सेस रेट 30 से 40% के बीच रहती है और यदि हम अच्छे आईवीएफ सेंटर का चुनाव करें तो यह सक्सेस रेट 70% तक भी जा सकती है !
पहली कोशिश में आईवीएफ की सफलता दर कितनी है?
आईवीएफ (In Vitro Fertilization (IVF) जैसे इलाज़ में सफलता की दर महिला की उम्र और अच्छी आईवीएफ तकनीक या सेंटर पर भी निर्भर करती है ! 30 वर्ष से कम उम्र की महिलाओ में पहली बार आईवीएफ करवाने पर 45% तक सफलता की दर मानी जाती है !
वहीं यदि महिला की उम्र 40 वर्ष से अधिक हो जाती है तो आईवीएफ (In Vitro Fertilization (IVF) की सफलता की दर मात्र 12% से भी कम आंकी गई है !
आईवीएफ पहली बार फेल क्यों होता है?
पहली बार आईवीएफ (In Vitro Fertilization (IVF) के फ़ैल होंने के पीछे भ्रूण का गर्भाशय की दीवार से नहीं चिपक पाने को मुख्य कारण माना गया है ! क्योकि पहली बार शरीर हार्मोनल संतुलन सही तरीके से नहीं बना पता है और शरीर गर्भ को रिजेक्ट कर देता है !
लगभग 60 से 70 प्रतिशत मामलों में नि:संतान दम्पत्तियो को पहली बार में ही संतान का सुख मिल जाता है वही कुछ कुछ मामलो में यह आईवीएफ (In Vitro Fertilization (IVF) प्रक्रिया दूसरी या तीसरी बार में सफल होती है !
क्या आईवीएफ से पैदा हुए बच्चे स्वस्थ होते हैं?
जी हाँ, आईवीएफ (In Vitro Fertilization (IVF) प्रक्रिया से पैदा होने वाले बच्चे भी सामान्य तरीके से पैदा होने वाले बच्चो की तरह ही पूरी तरह स्वस्थ और तंदरुस्त होते है ! और वैसे भी आजकल तो इस आईवीएफ (In Vitro Fertilization (IVF) तकनीक से हर साल लाखो दम्पति शारीरिक और मानसिक रूप से पूरी तरह से स्वस्थ संतान का सुख प्राप्त कर रही है !
Complete Detail Video in IVF
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